Published On: Fri, Jun 6th, 2025

NEET में मचाया धमाल, मिले 720 में से 720 अंक, कामयाबी का ऐसा फॉर्मूला, AIIMS की राह आसान


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NEET Success Story: अगर आप रेगुलर मेहनत करते हैं और इसमें माता-पिता का सहयोग के साथ समर्थन मिल जाए, तो सफलता की सीढ़ियों को चढ़ने से कोई नहीं रोक सकता है. ऐसे ही सहयोग के दम पर एक लड़की ने नीट यूजी की परीक्षा म…और पढ़ें

NEET में मचाया धमाल, कामयाबी का ऐसा फॉर्मूला, AIIMS की राह आसान

NEET Success Story: नीट यूजी में इस लड़की ने धमाल मचा दिया है.

हाइलाइट्स

  • NEET में 720 में से 720 अंक हासिल किए.
  • AIIMS Delhi से MBBS की पढ़ाई कर रही हैं.
  • सफलता में माता-पिता का सहयोग महत्वपूर्ण रहा.

NEET Success Story: अगर जीवन में सफलता की बुलंदियों को छूना चाहते हैं, तो उसी के अनुसार मेहनत करने की जरूरत होती है. ऐसे ही मुंबई की एक लड़की ने नीट यूजी की परीक्षा में टॉप 1 रैंक हासिल करने में कामयाब रही है. उन्हें कक्षा 9वीं से फिजियोलॉजी में रूचि थी और वह जानना चाहती थी कि मानव शरीर कैसे काम करता है. इसके लिए उन्होंने नीट यूजी में शानदार परफॉर्म करते हुए 720 में से पूरे 720 अंक हासिल की हैं. हम जिनकी बात कर रहे हैं, उनका नाम पलांशा अग्रवाल (Palansha Agarwal) है.

नीट यूजी की रहीं टॉपर

नीट यूजी में टॉपर रहे पलांशा अग्रवाल मुंबई की रहने वाली हैं. पलांशा का जन्म उत्तर प्रदेश के आगरा में हुआ, लेकिन वह मुंबई में पली-बढ़ी हैं. उन्होंने अपनी स्कूली शिक्षा डीएवी पब्लिक स्कूल, ऐरोली से की और बाद में जयपुरियार स्कूल से 11वीं और 12वीं कक्षा पास की. उनके पिता, अंशु अग्रवाल, रिलायंस कंपनी में इंजीनियर हैं और मां पायल अग्रवाल, यूरो स्कूल में शिक्षिका हैं.

पढ़ाई का रूटीन: सुबह 4 बजे से रात 9.30 बजे तक

पलांशा ने कक्षा 10वीं के बाद NEET की तैयारी शुरू कर दी थी. उनका पढ़ाई का रूटीन काफी अनुशासित था. वह सुबह 3 या 4 बजे उठ जाती थीं और तैयार होकर सुबह 6 से पढ़ाई शुरू कर देती थीं. स्कूल से लौटने के बाद वे रात 9.30 बजे तक पढ़ाई करती थीं.

फिजिक्स और केमिस्ट्री में आईं दिक्कतें, लेकिन नहीं मानी हार

शुरुआत में पलांशा को फिजिक्स विषय में परेशानी होती थी. वह बताती हैं कि जब तक पूरी तरह से समझ नहीं आता था, तब तक वह फिजिक्स को बार-बार पढ़ती थी. बाद में केमिस्ट्री में भी चुनौतियां आईं, लेकिन उन्होंने NCERT किताबों को दोहराकर इन मुश्किलों को पार कर लिया.

बॉयोलॉजी से बनी दिलचस्पी, गणित से दूरी

पलांशा को बॉयोलॉजी यानी जीवविज्ञान और फिजियोलॉजी में रुचि कक्षा 9वीं से ही हो गई थी. उन्होंने कहा कि जब वह कक्षा 9वीं में थी, तब उन्होंने गणित से दूरी बनने लगी और फिजियोलॉजी में दिलचस्पी बढ़ गई. वह जानना चाहती थी कि इंसानी शरीर के इतने सारे अंग कैसे काम करते हैं.

AIIMS से कर रही हैं MBBS

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Munna Kumar

पत्रकारिता के क्षेत्र में 8 वर्षों से अधिक का अनुभव. दूरदर्शन, ज़ी मीडिया और News18 के साथ काम किया है. इन्होंने अपने करियर की शुरुआत दूरदर्शन दिल्ली से की, बाद में ज़ी मीडिया से जुड़े और वर्तमान में News18 Hin…और पढ़ें

पत्रकारिता के क्षेत्र में 8 वर्षों से अधिक का अनुभव. दूरदर्शन, ज़ी मीडिया और News18 के साथ काम किया है. इन्होंने अपने करियर की शुरुआत दूरदर्शन दिल्ली से की, बाद में ज़ी मीडिया से जुड़े और वर्तमान में News18 Hin… और पढ़ें

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