Published On: Wed, Jul 24th, 2024

Indian Railways: मिडिल क्लास और कम आय वाले परिवारों को रेल मंत्री ने दी बड़ी खुशखबरी, बजट के तुरंत बाद किया ऐलान


ऐप पर पढ़ें

Indian Railways: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मोदी 3.0 के पहले बजट को पेश कर दिया। इस बजट के दौरान सभी की नजरें रेलवे को लेकर होने वाली घोषणाओं पर लगी रहीं। हालांकि, बजट के दौरान सिर्फ एक बार ही रेलवे शब्द का जिक्र किया गया, लेकिन बजट खत्म होने के बाद रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने करोड़ों रेल यात्रियों के लिए गुड न्यूज दी है। रेल मंत्री ने मिडिल क्लास और कम आय वाले परिवारों को खुशखबरी देते हुए बताया है कि रेलवे अभी ढाई हजार नॉन-एसी कोच बना रहा है और अगले तीन सालों में दस हजार और एक्स्ट्रा नॉन एसी कोच बनाए जाएंगे। रेलवे का उद्देश्य यह है कि कम आय वाले परिवार और मिडिल क्लास किफायती कीमत पर सुरक्षित यात्रा कर सकें। ये ट्रेनें हजार किलोमीटर की यात्रा के लिए लगभग 450 रुपये की लागत पर विश्व स्तरीय सुविधाएं दे रही हैं।

‘एनडीटीवी’ से बात करते हुए रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि साल 2014 से पहले रेलवे के लिए पूंजीगत व्यय पर निवेश 35,000 करोड़ रुपये के आसपास हुआ करता था। आज यह 2.62 लाख करोड़ रुपये है। यह रेलवे के लिए रिकॉर्ड पूंजीगत व्यय है। मैं रेलवे में इस तरह के निवेश के लिए प्रधानमंत्री और वित्त मंत्री का बहुत आभारी हूं। अगर हम 2014 से पहले के 60 सालों को देखें तो नई ट्रेनों की घोषणा बिना यह सुनिश्चित किए की जाती थी कि पटरियों में क्षमता है या नहीं। बिल्कुल लोकलुभावन उपाय किए गए जिनका रेलवे के बुनियादी ढांचे की स्थिति से कोई संबंध नहीं था। पिछले 10 सालों में प्रधानमंत्री ने यह सुनिश्चित करने पर बड़े पैमाने पर ध्यान केंद्रित किया है कि नींव ठीक से तैयार हो।

रेल मंत्री ने आगे बताया 40,000 किलोमीटर रेलवे ट्रैक का विद्युतीकरण किया गया है। 31,000 किलोमीटर नए रेलवे ट्रैक का निर्माण किया गया है। यदि आप 2014 से पहले विद्युतीकरण को देखें, तो 60 वर्षों में 20,000 किलोमीटर का विद्युतीकरण किया गया था। 10 सालों में 40,000 किलोमीटर का विद्युतीकरण किया गया है। यदि आप ट्रैक निर्माण की गति देखें, तो 2014 में यह रोजाना सिर्फ चार किमी था जोकि पिछले वित्तीय वर्ष में यह प्रतिदिन 14.5 किमी था, 5300 किमी नए ट्रैक का निर्माण किया गया है। रेल मंत्री ने कहा कि सुरक्षा पर भी बहुत अधिक ध्यान दिया गया है। पिछले वर्ष सुरक्षा संबंधी गतिविधियों में निवेश 98,000 करोड़ रुपये था, इस वर्ष सुरक्षा संबंधी गतिविधियों के लिए आवंटन 1,08,000 करोड़ रुपये है। 

‘गैर-एसी यात्रा की मांग में हुई बढ़ोतरी’

रेलवे ने पिछले कुछ सालों में वंदे भारत ट्रेनों पर काफी फोकस किया है। एक के बाद एक नई वंदे भारत ट्रेनें चलाई गई हैं। इसी पर जब रेल मंत्री से सवाल किया गया कि क्या रेलवे का फोकस वंदे भारत और फ्लैगशिप ट्रेनों पर रहेगा और गरीबों के लिए ट्रेनों पर नहीं तो मंत्री ने जवाब दिया कि दृष्टिकोण यह है कि हमारे पास एक बड़ा निम्न-आय वर्ग है और हम उस वर्ग को संबोधित कर रहे हैं और फिर एक आकांक्षी वर्ग है जो आगे आ रहा है। उस आकांक्षी वर्ग को भी संबोधित करने की जरूरत है, इसलिए हम दोनों को संबोधित कर रहे हैं। रेल मंत्री ने आगे कहा, ”एसी और गैर एसी कोचों का अनुपात आम तौर पर 1/3 और 2/3 रहा है। उस अनुपात को बनाए रखा गया है। गैर एसी यात्रा की मांग अब बढ़ गई है। अधिक से अधिक लोग यात्रा कर रहे हैं, अधिक से अधिक लोग गैर एसी सेगमेंट के लिए यात्रा सेवाओं की मांग कर रहे हैं। इसलिए हमने एक विशेष अभियान चलाया है। हम 2,500 गैर-AC कोच बना रहे हैं और आने वाले तीन वर्षों में हम नियमित उत्पादन कार्यक्रम के अलावा 10,000 अतिरिक्त गैर-AC कोच बनाएंगे।” 

 

.



Source link

About the Author

-

Leave a comment

XHTML: You can use these html tags: <a href="" title=""> <abbr title=""> <acronym title=""> <b> <blockquote cite=""> <cite> <code> <del datetime=""> <em> <i> <q cite=""> <s> <strike> <strong>