Crime: लूट का फर्जी मुकदमा दर्ज कराने वाला माइक्रो फाइनेंस कर्मी पत्नी के भाई संग गिरफ्तार, 50 हजार नकदी बरामद
पुलिस की गिरफ्त में दोनों आरोपी
– फोटो : अमर उजाला
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सुपौल जिले के मरौना थानाक्षेत्र में बीते छह जुलाई को दर्ज एक लूट के मामले का पुलिस ने खुलासा कर लिया है। मामले में पुलिस ने शिकायतकर्ता माइक्रो फाइनेंस कर्मी और उसकी पत्नी के भाई की ही गिरफ्तारी की है। साथ ही उनके पास से 50 हजार रुपये की बरामदगी भी की गई है। एसपी शैशव यादव ने सोमवार को अपने कार्यालय वेश्म में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इसकी जानकारी दी।
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एसपी ने बताया कि गिरफ्तार मधेपुरा के घैलाढ़ थानाक्षेत्र के झिटकिया निवासी रजनीश कुमार सुपौल में माइक्रोफिन प्राइवेट लिमिटेड कंपनी में कलेक्शन एजेंट के तौर पर काम करता था। छह जुलाई को उसके लिखित आवेदन पर मरौना थाने में कांड संख्या 68/24 दर्ज किया गया था। आवेदन में उसने मरौना थाना क्षेत्र के हड़री से भित्ता टोला के बीच स्थित पुलिया के पास एक लाख 28 हजार रुपये लूट की शिकायत की थी। उसने आरोप लगाया कि दो बाइक सवार अपराधियों ने उसे हथियार का भय दिखा कर कलेक्शन का पैसा लूट लिया। हालांकि पुलिस जांच में रजनीश की शिकायत फर्जी निकली।
वहीं, रजनीश की पत्नी के भाई मधेपुरा के घैलाढ़ थानाक्षेत्र के हरिराहा निवासी सुशील कुमार की निशानदेही पर रजनीश के पास से तथाकथित तौर पर लूटी गई रकम में से 50 हजार रुपये बरामद भी कर लिए गए हैं। साथ ही कंपनी के मैनेजर विशाल कुमार से मिले आवेदन के आधार पर सोमवार को रजनीश और उसकी पत्नी के भाई सुशील के खिलाफ मरौना थाना कांड संख्या 74/24 दर्ज कर उन्हें न्यायिक हिरासत में भेजा जा रहा है।
एसपी शैशव यादव ने बताया कि छह जुलाई को घटना की सूचना मिलते ही पुलिस मामले की जांच में जुट गई। चूंकि घटना ऐसे इलाके में हुई थी, जहां ऐसी घटना आम नहीं है। लिहाजा रजनीश के आवेदन पर प्राथमिकी दर्ज करने के बाद तत्काल ही निर्मली एसडीपीओ राजू रंजन के नेतृत्व में विशेष जांच टीम गठित की गई। उसमें अंचल पुलिस निरीक्षक राणा रणविजय सिंह और मरौना थानाध्यक्ष कृष्ण कुमार सहित अन्य शामिल थे। हालांकि पुलिस जांच में यह बात सामने आई कि लूट की शिकायत करने वाले रजनीश ने ही अपनी पत्नी के भाई सुशील के साथ मिलकर लूट की झूठी कहानी बनाई। वहीं, योजना अनुसार बताए गए घटनास्थल से डायल 112 को कॉल कर शिकायत दर्ज कराई गई। रजनीश ने पुलिस को बताया था कि अपराधी काले रंग की बाइक पर सवार थे।
एसपी ने बताया कि पुलिस जांच के दौरान रजनीश की गतिविधि संदिग्ध थी। उसके बयानों में ही कई विरोधाभास थे। वहीं, उसकी पत्नी के भाई सुशील कुमार ने पूछताछ में स्वीकारा कि बहनोई रजनीश ने कॉल कर उसे तथाकथित घटनास्थल के पास बुलाया था। यहां रजनीश ने सुशील को एक लाख 28 हजार रुपये और मोबाइल दिया था। सुशील की निशानदेही पर पुलिस ने रजनीश के घर से 50 हजार रुपये, लूटी गया मोबाइल और काले रंग की टीवीएस विक्टर बाइक भी बरामद की। उसके बाद पूछताछ में रजनीश ने भी योजनाबद्ध तरीके से लूट की झूठी कहानी की बात स्वीकार की। फाइनेंस कंपनी के मैनेजर द्वारा भी रजनीश के खिलाफ रुपये गबन को लेकर प्राथमिकी दर्ज कराई गई है। दोनों आरोपियों को न्यायिक हिरासत में भेजा जा रहा है।