Bihar Exit Poll : लोकसभा चुनाव के सारे एग्जिट पोल आज दिखाएगा अमर उजाला; 2019 में 10 सीटें दी थी महागठबंधन को


पंजाब का एग्जिट पोल
– फोटो : अमर उजाला
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जून की पहली तारीख को इस बार भीषण गर्मी से थोड़ी राहत के बीच सातवें चरण का मतदान शुरू हो गया है। मतदान खत्म होते ही ‘अमर उजाला’ पर एक साथ सभी एजेंसियों के एग्जिट पोल नजर आएंगे। बिहार की 40 लोकसभा सीटों के एग्जिट पोल भी हम सामने लाएंगे। ऐसे में यह जानना बेहद रोचक है कि बिहार की 40 लोकसभा सीटों को लेकर 2019 में सर्वाधिक 10 सीटें किस एग्जिट पोल में महागठबंधन को मिली थीं और सबसे कम, यानी परिणाम के आसपास किसने अनुमान लगाया था। सातवें चरण के मतदान में पिछली बार की तरह इस बार भी राष्ट्रीय जनता दल अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव, जनता दल यूनाईटेड के अध्यक्ष व सीएम नीतीश कुमार की प्रतिष्ठा फंसी है। शनिवार को जैसे ही एक केंद्रीय मंत्री, तीन पूर्व केंद्रीय मंत्रियों, एक राज्यसभा सांसद और एक भोजपुरी कलाकार समेत 134 प्रत्याशियों का भाग्य इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन में लॉक होगा, एग्जिट पोल आने लगेंगे।
पिछली बार औसतन सात सीटें महागठबंधन को दी थी
लोकसभा चुनाव 2019 में बिहार की 40 लोकसभा सीटों में से 39 पर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन ने जीत दर्ज की थी। उस हिसाब से देखा जाए तो 2019 के एग्जिट पोल में सबसे सटीक इंडिया टुडे-एक्सिस रहा था, जिसने भाजपा+ को 38 से 40 सीटें और महागठबंधन के खाते में शून्य से दो सीटें रखी थीं। महागठबंधन को सर्वाधिक 10 सीटें टाइम्स नाउ-वीएमआर के एग्जिट पोल में दिया गया था। इसके सर्वे में भाजपा+ को 30 सीटें दी गई थीं। बाकी एग्जिट पोल में सीएनएन आईबीएन-आईपीएसओएस, एबीपी-एसी निल्सन, रिपब्लिक टीवी- सी वोटर, न्यूज24- चाणक्य, इंडिया टीवी- सीएनएक्स आदि ने 2019 के लोकसभा चुनाव में भाजपा+ के लिए 32 से 34 सीटें रखी थीं, जबकि महागठबंधन+ के खाते में छह से आठ सीटें दी थीं।
इस बार बदला समीकरण, सवाल- कैसा रहेगा एग्जिट पोल
लोकसभा चुनाव 2019 में बिहार के अंदर दूसरा समीकरण था और इस बार कुछ अलग है। पिछली बार जीतन राम मांझी की पार्टी हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा- सेक्युलर महागठबंधन के साथ थी। उपेंद्र कुशवाहा भी तब महागठबंधन के साथ ही थे। इस बार दोनों राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के साथ हैं। दोनों को एक-एक सीटें एनडीए में मिली हैं और इसके सर्वेसर्वा ही मैदान में हैं। विकासशील इंसान पार्टी के प्रमुख पिछली बार जितनी सीटों पर ही इस बार भी महागठबंधन के खाते से उतरे हैं। पिछली बार राजग में 17-17 सीटें भाजपा-जदयू ने अपने पास रखी थी और छह सीटें दिवंगत रामविलास पासवान की लोक जनशक्ति पार्टी को दी थी। भाजपा ने अपनी सभी 17 सीटें और लोजपा ने अपनी सभी सात सीटें जीती थीं। जदयू को एक सीट का नुकसान हुआ था, जो कांग्रेस के खाते में गई थी।