पूर्णिया शहर में गुरुवार की शाम एक तेज़ रफ्तार टोटो की टक्कर से सिविल कोर्ट में कार्यरत महिला कर्मी की मौत हो गई। मृतका की पहचान 60 वर्षीय अंजू देवी के रूप में हुई है। वह मूल रूप से कटिहार जिले के काढ़ागोला निवासी स्वर्गीय मेघनाथ चौरसिया की पत्नी थीं और वर्तमान में पूर्णिया के रेडियो स्टेशन रोड स्थित एक किराए के मकान में रह रही थीं।
घटना फोर्ड कंपनी चौक के पास उस समय हुई, जब अंजू देवी अपनी बेटी के साथ मंदिर जा रही थीं। इसी दौरान सामने से आ रहे एक तेज़ रफ्तार टोटो ने उन्हें जोरदार टक्कर मार दी, जिससे उनके सिर में गंभीर चोट आई। स्थानीय लोगों की मदद से उन्हें तुरंत जीएमसीएच के आपातकालीन वार्ड लाया गया। परिजनों का आरोप है कि अस्पताल लाए जाने के बाद भी लगभग 40 मिनट तक अंजू देवी स्ट्रेचर पर पड़ी रहीं, लेकिन डॉक्टरों ने उन्हें मृत समझकर इलाज शुरू नहीं किया। मृतका की बेटी शालिनी चौरसिया ने बताया कि वह बार-बार कहती रही कि उसकी मां की सांस चल रही है, लेकिन डॉक्टरों ने कोई संज्ञान नहीं लिया।
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इस दौरान मौके पर फणीश्वरनाथ रेणु टीओपी प्रभारी शबाना आजमी पहुंचीं और उनके हस्तक्षेप के बाद महिला का इलाज शुरू किया गया। लेकिन तब तक काफी देर हो चुकी थी और डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। मृतका के पुत्र आशीष कुमार, जो स्थानीय डाकघर में लेखपाल के पद पर कार्यरत हैं, उन्होंने अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कहा कि अगर समय पर उनकी मां का इलाज शुरू होता, तो शायद उनकी जान बचाई जा सकती थी।
उधर, टीओपी प्रभारी शबाना आजमी ने बताया कि फरार टोटो चालक मंटू साह को गिरफ्तार कर लिया गया है। वह अररिया जिले का निवासी है और पूर्णिया शहर में बस स्टैंड के पास रहकर टोटो चलाता था। पुलिस ने टोटो को जब्त कर लिया है और मृतका के परिजनों के आवेदन के आधार पर प्राथमिकी दर्ज की जा रही है। अंजू देवी की मौत से उनके परिवार में मातम का माहौल है। घटना के बाद इलाके में भी शोक और आक्रोश का माहौल देखा गया।