Published On: Thu, Jun 13th, 2024

Drought Has Taken Away The Sweetness Of Litchi, Production Will Also Be Less – Amar Ujala Hindi News Live


Drought has taken away the sweetness of litchi, production will also be less

लीची
– फोटो : संवाद

विस्तार


प्रदेशभर में पड़ रही प्रचंड गर्मी और बारिश न होने के कारण लीची की फसल पर खासा असर पड़ा है। समय पर बारिश न होने के कारण लीची का आकार घट गया है। फसल झड़ने लगी है। इस वजह से बागवानों के चेहरे मायूस हैं। सूखे की मार के कारण किसानों को लीची की पैदावार कम होने के कारण नुकसान झेलना पड़ेगा। मौसम में नमी नहीं होने से लीची के फलों में मिठास भी कम हुई है। इस वजह से बागवानों की माथे पर चिंता की लकीरें खिंच गई हैं। जानकारी के अनुसार जिला कांगड़ा में 3750 हेक्टेयर भूमि पर लीची की फसल होती है।

वर्ष 2023 में जिले में 3400 मिट्रिक टन लीची का उत्पादन हुआ था। मगर, इस साल लीची के उत्पादन पर काफी असर पड़ेगा। बारिश और भीषण गर्मी के चलते इस बार लीची का गुदा (पल्प) नहीं बना और लीची के आकार में कमी आयी है। लीची के आकार में आयी कमी के चलते कारोबारी को लीची के सही दाम नहीं मिल रहे है। बारिश नहीं होने से इस बार लीची के स्वाद में खट्टापन आया है, जबकि लीची की मिठास सभी को भाती है। इस बार लीची की फसल कम होने से कारोबारियों के माथे पर शिकन साफ दिखाई दे रही है। 

तेज गर्मी और बारिश न होने से लीची की पैदावार पर असर पड़ा है। फल का आकार भी घटा है। सूखे के कारण लीची झड़ रही है। किसान लीची की फसल को बचाने के लिए सिंचाई करें और नमी बरकरार रखने के लिए पौधे के तने के नीचे ग्रास मल्चिंग करें। -कमलशील नेगी, उपनिदेशक, उद्यान विभाग जिला कांगड़ा

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