शंकर सिंह भी हम लोगों से जुड़े उम्मीदवार थे, विजय सिन्हा के बयान का क्या मतलब निकालेगी जेडीयू?

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बिहार के पूर्णिया जिले की रुपौली विधानसभा सीट पर हुए उपचुनाव में निर्दलीय शंकर सिंह के जीतने पर सियासी बयानबाजी का दौर जारी है। भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के वरिष्ठ नेता एवं डिप्टी सीएम विजय सिन्हा ने यह तक कह दिया कि शंकर सिंह भी हम लोगों से जुड़े हुए उम्मीदवार ही थे। इसके बाद राजनीतिक गलियारों में चर्चाओं का दौर शुरू हो गया है। दरअसल, शनिवार को जारी हुए रुपौली उपचुनाव के नतीजों में शंकर सिंह ने एनडीए समर्थित जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) के प्रत्याशी कलाधर मंडल को 8211 वोटों से हराया।
रुपौली की मतगणना के दौरान डिप्टी सीएम विजय सिन्हा ने मीडिया से बातचीत में कहा कि बीजेपी एनडीए समर्थित जेडीयू उम्मीदवार के साथ संघर्ष में है। जनता का जनादेश स्पष्ट रूप से राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के खिलाफ है। निर्दलीय प्रत्याशी शंकर सिंह पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि वे भी हम लोगों से जुड़े हुए उम्मीदवार थे। रुपौली में उनका मुकाबला एनडीए से रहा। आरजेडी मुकाबले में कहीं नहीं दिखी।
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दरअसल, शंकर सिंह पूर्व में लोजपा से जुड़े हुए थे। हाल ही में उपचुनाव में उन्होंने पार्टी से अलग राह पर जाकर रुपौली से निर्दलीय पर्चा भरा। वे 2005 में लोजपा के टिकट पर जीतकर रुपौली से विधायक भी बन चुके हैं। अब 19 साल बाद उन्होंने फिर से यहां जीत दर्ज की है। उपचुनाव में उन्हें कुल 67779 वोट मिले, जबकि दूसरे नंबर पर रहे जेडीयू के कलाधर मंडल ने 59568 वोट हासिल किए। आरजेडी की बीमा भारती महज 30108 वोट पाकर तीसरे स्थान पर रहीं।
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वहीं, बीजेपी नेता सह डिप्टी सीएम विजय सिन्हा के शंकर सिंह को लेकर दिए गए बयान के सियासी गलियारों में अलग-अलग मायने निकाले जा रहे हैं। सवाल है कि जेडीयू उनके बयान को किस तरह लेती है। शंकर सिंह ने जेडीयू के वोटबैंक में खासी सेंधमारी की है। हाल ही में संपन्न हुए लोकसभा चुनाव के दौरान रुपौली विधानसभा सीट पर जेडीयू को करीब 92 हजार वोट मिले थे। वहीं, इसके एक महीने बाद हुए विधानसभा उपचुनाव में पार्टी के 32 हजार वोट कम हो गए। विजय सिन्हा ने शंकर सिंह को अपने से जुड़ा उम्मीदवार ही बताकर जेडीयू नेताओं के मन में उलझन पैदा कर दी है।
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रुपौली उपचुनाव में जेडीयू कैंडिडेट कलाधर मंडल के लिए खुद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार समेत बिहार के कई मंत्रियों ने जमकर प्रचार किया। बीजेपी से भी सम्राट चौधरी, मंगल पांडेय समेत कई नेताओं ने रैलियां कीं। केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान भी जेडीयू प्रत्याशी कलाधर मंडल के लिए प्रचार करने रुपौली पहुंचे थे। जबकि उनकी ही पार्टी के बागी शंकर सिंह यहीं से मैदान में डटे रहे और उपचुनाव में एनडीए और महागठबंधन को हराकर जीत भी हासिल की।