रिटायर्ड इंजीनियर को डिजिटल अरेस्ट कर बिगाड़ दिया ‘बुढ़ापा’, ठगों ने 1.84 करोड़ रुपये खींचकर साफ किया एकाउंट

जोधपुर. जोधपुर में डिजिटल अरेस्ट कर ठगी करने के मामले थमने के नाम नहीं ले रहे हैं. साइबर ठग जोधपुर के शिक्षित और उच्च वर्ग के लोगों को निशाना बनाकर करोड़ों रुपये की ठगी को अंजाम दे रहे हैं. ताजा मामला बासनी थाना इलाके का है. यहां पर रिटायर्ड इंजीनियर नरेश कुमार बैरवा से साइबर ठगों ने 1 करोड़ 84 लाख 50 हजार रुपये की ठगी कर डाली. ठगी होने के बाद पीड़ित अब साइबर थाने पहुंचा और अपनी व्यथा बताई है.
हिन्दुस्तान पेट्रोलियम से मैनेजर के पद से रिटायर्ड हुए इंजीनियर नरेश बैरवा ने बताया कि उनके पास 25 नवंबर को एक फोन आया. सामने वाले व्यक्ति ने बताया कि वह ट्राई से बोल रहा है. आपके मोबाइल की वैलिडिटी खत्म होने वाली है. ऐसे में अगले दो दिनों में आपका मोबाइल बंद हो जाएगा. यदि वे इसे कंटिन्यू करना चाहते हैं तो 9 नंबर डायल करके जानकारी दें. उसने जब ऐसा किया तो उसके बाद मुंबई क्राइम ब्रांच से एक फोन आया.
ठग बोला- हमें पता है आप इस पूरे घटनाक्रम में सम्मिलित नहीं हो
उसने कहा कि आपके आधार कार्ड के जरिये मुंबई में किसी ने मोबाइल लिया है. वह मोबाइल देश विरोधी गतिविधियों और मनी लॉड्रिंग की गतिविधियों में शामिल है. ऐसे में उनके खिलाफ एक मामला दर्ज किया गया है. जल्द ही आपकी गिरफ्तारी होने वाली है. इसके साथ ही उस व्यक्ति ने नरेश कुमार को यह दिलासा दी कि हमें सब पता है कि आप इस पूरे घटनाक्रम में सम्मिलित नहीं हो. लेकिन उन अपराधियों को पकड़ने के लिए आप यदि हमारी मदद करेंगे तो आप बच जाएंगे.
परिवार को जान का खतरा हो सकता है
नरेश कुमार ने जब यह सुना तो उन्हें थोड़ी राहत महसूस हुई. फोन करने वाले ने उनको यह भी कहा कि वे इस घटना का जिक्र किसी से ना करें. क्योंकि ऐसा करने से उनको और उनके परिवार को जान का खतरा हो सकता है. ऐसे कई मामलों में कई परिवारों की जान जा चुकी है. ऐसे में नरेश कुमार डर गए और उन्होंने किसी को कुछ नहीं बताया. बाद में उन्होंने वह सब कुछ करना शुरू कर दिया जो ठग उन्हें कहते रहे.
1 करोड़ 84 लाख 50 हजार रुपये ट्रांसफर करवा लिए
उन्हें 3 दिन तक लगातार व्हाट्सएप कॉल के जरिए डिजिटल अरेस्ट करके कमरे में रखा गया. उसके बाद उन्हें बताया गया कि उनके अकाउंट में जितने भी पैसे हैं वह आरबीआई में शिफ्ट करने पड़ेंगे. ये रुपये 2 दिन बाद वापस लौटा दिए जाएंगे. साइबर ठगों ने कुल 11 चेक के जरिए आरटीजीएस करवा कर 1 करोड़ 84 लाख 50 हजार रुपये ट्रांसफर करवा लिए.
सबकुछ खोने के बाद अहसास हुआ कि ठगी हो गई
बाद में नरेश कुमार का माथा ठनका और अहसास हुआ कि वे ठगी के शिकार हो गए. लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी. उसके बाद वे साइबर थाने पहुंचे और अज्ञात ठगों के खिलाफ केस दर्ज कराया. नरेश कुमार का कहना है कि थाने वालों ने उसकी रिपोर्ट में दिए गए चेक नंबर लिखने में कुछ त्रुटि कर दी. इसके चलते समय रहते सभी चेक होल्ड नहीं कराया जा सके.
जोधपुर में अब तक इस तरह के करीब 10 मामले सामने आ चुके हैं
जोधपुर में कई डिजिटल अरेस्ट के अब तक कई मामले सामने आ चुके हैं. इससे पहले पाली मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल से 87 लाख रुपये की ठगी का मामला आया था. वहीं उससे पहले आईआईटी की प्रोफेसर को डिजिटल अरेस्ट कर 24 लख रुपये की ठगी कर ली गई थी. जोधपुर में अब तक इस तरह के करीब 10 मामले सामने आ चुके हैं.
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FIRST PUBLISHED : December 1, 2024, 15:58 IST