Published On: Sat, Jul 27th, 2024

पुलिस के इंतजार में अररिया में घायल व्यक्ति ने तोड़ा दम, इस असमय मौत का जिम्मेदार कौन ?


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सड़क दुर्घटना के शिकार अज्ञात घायल समय पर इलाज न होने के कारण मौत के आगोश में जा रहे हैं। बुधवार को रानीगंज-अररिया मार्ग पर रामपुर पेट्रोल पंप के समीप दो बाइक की आमने सामने टक्कर में बाइक सवार एक युवक की मौके पर ही मौत हो गयी। जबकि दूसरा युवक गंभीर रूप से घायल हो गया था। घायल युवक को पुलिस द्वारा इलाज के लिए रानीगंज रे़फरल अस्पताल लाया गया। वहां से प्राथमिक उपचार के बाद बेहतर इलाज के लिए सदर अस्पताल अररिया रेफर कर दिया गया, लेकिन रेफर किये गए घायल युवक को लेकर एम्बुलेंस तबतक रानीगंज रेफरल अस्पताल से नहीं निकली जबतक की पुलिस कर्मी नहीं पहुंचे। इस दौरान घायल युवक पुलिस के इंतजार में 15 से 20 मिनट तक तक एम्बुलेंस में ही तड़पता रहा और बाद में अधिक खून बहने के कारण उसकी मौत हो गई। यह घटना बिहार के अररिया की है।


अस्पताल के कई कर्मियों द्वारा पुलिस को कई बार कॉल किया गया। करीब 20 मिनट के बाद रानीगंज पुलिस के पहुंचने पर एम्बुलेंस चालक घायल युवक को बेहतर इलाज के लिए सदर अस्पताल लेकर गया। मगर खून अधिक बह जाने के कारण घायल युवक की मौत हो गयी। कहते हैं कि गंभीर रूप से घायल के इलाज के लिए एक-एक मिनट कीमती होता है जबकि घायल युवक को डायल 112 की टीम के द्वारा बेहद ही तेजी से रानीगंज रेफरल अस्पताल पहुंचाया गया था। मगर रानीगंज रेफरल अस्पताल से रेफर होने के बाद करीब 20 मिनट तक घायल युवक एम्बुलेंस में अस्पताल के मुख्य गेट पर तड़पता रहा। इस दौरान एम्बुलेंस के चालक ने स्पष्ट रूप से कहा कि जबतक घायल का परिजन अथवा पुलिस के कोई कर्मी घायल के साथ सदर अस्पताल नही जायेगा तबतक उनका सदर अस्पताल में भी इलाज नहीं होगा।

एम्बुलेंस चालक ने कहा कि यदि बिना पुलिस कर्मी के चले भी जाएंगे तो वहां पर (सदर अस्पताल में) मरीज को भर्ती नहीं किया जाएगा। ऐसा नहीं है कि घायल व्यक्ति के परिजन अथवा पुलिस के इंतजार में एक ही जान गयी है। इस तरह के केस आए दिन होते हैं जब घायल व्यक्ति के परिजनों का पता नहीं चल पाता है और पुलिस के इंतजार में काफी समय तक एम्बुलेंस में ही मरीज तड़पते रहते है। अब सवाल यह उठता है कि यदि किसी दूसरे जिले अथवा राज्य का कोई व्यक्ति रानीगंज क्षेत्र में कहीं पर सड़क दुर्घटना में घायल होता है तो उनके परिजन कैसे आएंगे? इन परिस्थितियों में उनका इलाज कैसे होगा?

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