अंतरराष्ट्रीय संस्थानों में सुधार की सख्त जरूरत : जयशंकर

नई दिल्ली, एजेंसी। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने शनिवार को कहा कि विभिन्न अंतरराष्ट्रीय संस्थानों में सुधार की सख्त जरूरत है। उन्होंने कहा कि संयुक्त राष्ट्र के संबंध में इस प्रक्रिया को आगे बढ़ाने में असमर्थता की कीमत हर दिन दुनिया को चुकानी पड़ रही है।
भारत द्वारा आयोजित वॉयस ऑफ ग्लोबल साउथ शिखर सम्मेलन के तीसरे संस्करण में यह मुद्दा प्रमुखता से उठा। इसमें 120 से अधिक देशों ने भाग लिया और उनमें से बड़ी संख्या में देशों ने बहुपक्षीय संस्थानों में सुधारों की वकालत की। एस जयशंकर ने शिखर सम्मेलन के विदेश मंत्रिस्तरीय सत्र में कहा, अगर हमें बहुपक्षवाद की विश्वसनीयता को पुनर्जीवित करना है तो इसमें सुधार की सख्त जरूरत है। वास्तव में कोई भी देश इस आकलन से असहमत नहीं है। उन्होंने कहा, लेकिन संयुक्त राष्ट्र के संबंध में इसे आगे ले जाने में असमर्थता हमें हर गुजरते दिन के साथ अधिक महंगी पड़ रही है। भारत संयुक्त राष्ट्र, विश्व बैंक और अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष सहित बहुपक्षीय संस्थानों में सुधार के लिए लगातार दबाव डाल रहा है। भारत का तर्क है कि उन्हें वर्तमान दुनिया की वास्तविकताओं को प्रतिबिंबित करना चाहिए। इसके अलावा उन्होंने डिजिटल होती दुनिया और जलवायु परिवर्तन को लेकर भी बातें कीं।